गरीब महिला एंव सेवा ही संकल्प है के संस्थापक के चेहरे पर खुशी।
चांडिल (भास्कर मिश्रा) : सेवा ही संकल्प है के संस्थापक राकेश वर्मा द्वारा निरन्तर चांडिल क्षेत्र में गरीबो, असहाय लोगो की मद्दत करते आ रहे है। वे कहि भी रहे किसी भी स्थान पे रहे अपने सेवा कार्य को सुचारू रखते है। इसी कड़ी को रविवार के दिन एक बैठक में सम्मिलित होने चांडिल पंचायत भवन पहुंचे थे। तभी उनकी नजर एक गरीब महिला पर पड़ी जो शाम के समय सुदूर गांव से चांडिल में दातुन बेचने आई हुई थी। इन्होंने देखा लोग अपने अपने काम मे व्यस्त हैं कोई भी दातुन लेने में दिलचस्पी नही दिखा रहा है वही दूसरी तरफ शाम होने को चली थी एंव महिला के चेहरे पर चिंता और दुख साफ झलक रहा था। कुछ देर तक पूरे प्रक्रम को देखने के बाद राकेश वर्मा उनके पास पहुंचे ओर उनसे पूछा माता जी कैसे बैंच रहे है यह दातुन तो महिला ने बताया प्रति बंडल पांच रुपये इतना बोलते हुए महिला ने कहा "लिए लो बेटा एई दातुन टा दातेर जॉनने खूबैई भालो होई, दांते पोका लगबेक नाइ" और उनकी तरफ़ आशाभरी नजरो से देखने लगी। फिर राकेश वर्मा ने पूछा दातुन का कितना बंडल है आपके पास तो महिला ने कहा 23 मुठा होबेक। समाजसेवी राकेश वर्मा ने जेब से 500-500 सौ के चार नोट निकाल उक्त महिला को देते हुए उनसे कहा "माई पूरा दातुन मुठा हमके दिए दाव" पहले तो इस पर महिला अचंभित भी हुई और फिर उनके आंखों में खुशी के आंसू भी आए इसपर वर्मा जी ने कहा माँ जी इससे आप अपने लिए फल ले लीजिएगा ओर कुछ पैसे घर मे जमा रखियेगा जो छोटी-मोटी विपत्ति में काम आए। इसपर महिला ने आशीर्वाद देते हुए कहा बेटा तुमार मौतोन छा भगवान सोबाई के देइ, आर तुमार सोब दुःख खत्म कोरुक। तुमी आर तुमार परिवार चिरोदिनी खुशेई थाकुक। इस तरह वह महिला आशीर्वाद देते हुए खुशी खुशी घर गई इधर सभी दातुन लेने के बाद राकेश वर्मा के चेहरे पर भी खुशी के मुस्कान थे। दोनो अपनी अपनी जगह खुश थे। आज दोनो की छोली भरी थी। बस देखने का नजरिया है। मोके पर चांडिल मुखिया मनोहर सिंह, सनातन गोराई, अपीन कालिंदी, राजीव प्रमाणिक, निल रतन खा, रविंद्र सिंह सरदार, सीताराम महतो आदि दर्जनों लोग मौजूद थे जिनके बीच दातुन का वितरण कर दिया गया। सभी ने कहा पेस्ट ब्रस से अच्छा तो दातुन ही होता है। पहले के लोगो के दांत आज भी स्वस्थ्य है और आजकल के लोगों के दांतों में कीड़ा, दांत दर्द, पायरिया आदि बीमारियों का तांता लगा हुआ है।

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